Ayurved ka Amrut Mulethi : आयुर्वेद की गुप्त जड़ी-बूटी जो बदल दे आपकी सेहत की कहानी

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 Ayurved ka Amrut Mulethi : आयुर्वेद की गुप्त जड़ी-बूटी जो बदल दे आपकी सेहत की कहानी"



संस्कृत : मधुयष्टि                                   बंगला : यष्टिमधु

हिंदी : मुलेठी                                        मराठी : जेष्ठमध 

अंग्रेजी : Liquorice 


Ayurved ka Amrut Mulethi

परिचय


क्या आपने कभी खाँसी होने पर दादी माँ से सुना है – "मुंह में एक टुकड़ा मुलैठी रख लो, आराम मिलेगा"?

अगर हाँ, तो आप मुलैठी के असरदार गुणों को पहले से जानते हैं।

कल से औषधि रूप में प्रयुक्त होती आ रही है, प्राचीन भारत, इजिप्ट ,ग्रीस और रोम में यह वनस्पति श्वास खांसी एवं सीने की व्यथा के लिए एक बहुत प्रसिद्ध और लोकप्रिय औषधि मानी जाती 

यह शीतल स्वादिष्ट नेत्रों को हितकारी बल तथा वर्णों को उत्तम करने वाली केशव तथा स्वर के लिए भी हितकर है रक्त विकार वरना शोध वमन तृषा तथा क्षय नाशक है, मुलेठी में एंटी-इंफ्लामेटरी, एंटीऑक्सीडेंट और एंटीवायरल गुण होते हैं।

Ayurved ka Amrut Mulethi


मुलेठी के 10 जबरदस्त फायदे और उपयोग :


3 ग्राम मुलेठी 1 ग्राम दालचीनी छोटी इलायची इन सब को काटकर 225 ग्राम पानी में पानी में आग पर चढ़ा देजब पानी आधे से भी काम रह जाए तो इसमें थोड़ी मिश्री मिलाकर पानी से जुकाम चाहे कितना भी पुराना हो ठीक हो जाएगा।


मुलेठी नागरमोथा पित्तपापड़ा और कई दाग में शहद मिलाकर पिलाने से मोतीझरा ( टाइफाइड के बुखार) में लाभ होता है।


मुलेठी गुलबंद फसा और देसी अजवाइन तीनों को बराबर मात्रा में लेकर 20 और छान ले नित्य सुबह डेड ग्राम की मात्रा में गर्म पानी के साथ लेने से खांसी नजला जुखाम ठीक हो जाता है।

मुलेठी शरीर की त्वचा को निरोगी और स्वस्थ करती है तथा धातु वर्धन होती है इसका किसी भी रूप में प्रयोग किया जाए यह बालू की रक्षा और कांत को मधुर बनती है इसके सेवन से पितरों का फ्रॉक तथा रक्त के विकार नष्ट हो जाते 

फोड़े फुंसी घाट व गाव पर मुलेठी को पीस कर ले करने से तुरंत लाभ दिखाई देने लगता है।

उल्टी अरुचि प्याज की अधिकता मुंह सूखना आदि में इसका चरण विशेष लाभ करता है।

मुलेठी का चूर्ण शब्द के साथ खाने से छाती पर जमा हुआ कफ निकल जाता है।
बालों को झड़ने से रोकें और डैंड्रफ हटाएं, मुलैठी पाउडर नारियल तेल  हेयर मास्क 1 घंटे बाद धो लें,बालों की जड़ें मजबूत होती हैं, डैंड्रफ में आराम मिलता है।

पाचन और पेट की समस्याओं के लिए मुलेठी पाउडर (¼ चम्मच) को शहद या गुनगुने पानी के साथ मिलाकर भोजन के बाद लें,  गैस, जलन, एसिडिटी और अल्सर में लाभ मिलता है। 

मुलेठी के पानी से कुल्ला करने से मुंह के छालों ,दांतों और मसूड़े की समस्याओं में लाभ मिलता है।

मुलेठी आपके इम्यून सिस्टम को मजबूत बनाए रखने में भी काफी मददगार साबित होता है, मुलेठी के पाउडर को आंवला गिलोय यह तुलसी के साथ मिलाकर सेवन करने से यह शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है आप आसानी से संक्रमण से बच सकते हैं।


⚠️ मुलैठी के उपयोग में सावधानी (Precautions While Using Mulethi)

  • हाई ब्लड प्रेशर वालों को डॉक्टरी सलाह लेनी चाहिए।

  • गर्भवती महिलाएँ बिना सलाह के इसका सेवन न करें।

  • अत्यधिक सेवन से शरीर में सोडियम बढ़ सकता है।

मुलेठी एक ऐसी प्राकृतिक औषधि है जिसे आप घर बैठे छोटी-छोटी परेशानियों के इलाज में इस्तेमाल कर सकते हैं। चाहे वो गले की खराश हो, पेट की दिक्कत हो या त्वचा की समस्या – मुलेठी एक भरोसेमंद घरेलू नुस्खा है। लेकिन याद रखें, किसी भी चीज़ का ज्यादा सेवन नुकसानदायक हो सकता है।

मुलैठी के बारे में अक्सर पूछे जाने वाले सवाल

Q1. क्या मुलैठी रोज़ाना ले सकते हैं?
हाँ, लेकिन सीमित मात्रा (1-2 ग्राम) में और कुछ दिनों के लिए ही।

Q2. क्या बच्चों को मुलैठी दी जा सकती है?
हल्की खाँसी-जुकाम में दिया जा सकता है, लेकिन डॉक्टर की सलाह लें।

Q3. मुलैठी की चाय कैसे बनाते हैं?
1 कप पानी में 1/2 चम्मच मुलैठी उबालें, स्वाद के लिए तुलसी या शहद मिला सकते हैं।


                           








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